पंजाब एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी बनी दुनिया की टॉप 100 कृषि संस्थानों में शामिल
परिचय
क्या आपने कभी सोचा है कि भारत की कोई राज्य स्तरीय कृषि यूनिवर्सिटी अंतरराष्ट्रीय मंच पर जगह बना सकती है? तो अब इसका उत्तर “हाँ” है। Punjab Agricultural University (PAU), लुधियाना ने एक नया कीर्तिमान स्थापित करते हुए EduRank 2025 की ग्लोबल रैंकिंग में 93वां स्थान प्राप्त किया है। यह उपलब्धि सिर्फ विश्वविद्यालय के लिए नहीं, बल्कि पूरे देश के लिए गौरव का विषय है।

दुनिया के 4,407 संस्थानों में से टॉप 100 में जगह
दुनिया भर के 4,407 कृषि संस्थानों का मूल्यांकन करने वाली प्रतिष्ठित संस्था EduRank ने रिसर्च आउटपुट, साइटेशन इम्पैक्ट और अकादमिक प्रभाव जैसे ठोस मापदंडों के आधार पर यह रैंकिंग जारी की है।
क्या है खास?
- PAU भारत की इकलौती राज्य कृषि यूनिवर्सिटी है जिसने इस सूची में जगह बनाई।
- भारत की ओर से केवल दो संस्थान शामिल हुए हैं:
- IARI (नई दिल्ली) – 47वां स्थान
- PAU (लुधियाना) – 93वां स्थान

🇮🇳 भारत के लिए गर्व का क्षण
जहाँ IARI एक राष्ट्रीय संस्थान है जो ICAR के अंतर्गत आता है, वहीं PAU पूरी तरह से एक राज्य स्तरीय यूनिवर्सिटी है। यह दर्शाता है कि सीमित संसाधनों में भी दृढ़ संकल्प और गुणवत्ता की बदौलत वैश्विक मंच पर छापा छोड़ा जा सकता है।
दो साल से भारत की नंबर 1 राज्य यूनिवर्सिटी
यह कोई पहली बार नहीं है जब PAU ने अपनी श्रेष्ठता साबित की है:
- NIRF (National Institutional Ranking Framework) के अनुसार 2023 और 2024 में लगातार नंबर 1 राज्य कृषि यूनिवर्सिटी।
- IIRF 2025 ने भी इसे देश की सर्वोत्तम राज्य कृषि यूनिवर्सिटी घोषित किया।
वैज्ञानिकों और शिक्षकों की मेहनत रंग लाई
PAU के वाइस-चांसलर डॉ. सतबीर सिंह गोसल ने कहा,

“यह उपलब्धि हमारी टीम की मेहनत, प्रतिबद्धता और वैज्ञानिक दक्षता का नतीजा है। यह सिर्फ यूनिवर्सिटी के लिए नहीं, बल्कि पूरे देश के लिए गर्व का विषय है।”
उन्होंने यह भी कहा कि यह अंतरराष्ट्रीय पहचान विश्वविद्यालय की दृश्यता को बढ़ाएगी और विदेशी संस्थानों व इंडस्ट्री लीडर्स के साथ नए सहयोग के रास्ते खोलेगी।
हरियाली की क्रांति का केंद्र रहा है PAU
1962 में स्थापित, Punjab Agricultural University भारत में ग्रीन रिवोल्यूशन (हरित क्रांति) का आधार रहा है। यह विश्वविद्यालय न केवल कृषि शिक्षा, बल्कि अनुसंधान और विस्तार सेवाओं के जरिए भारत की खाद्य सुरक्षा में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता आया है।
अंतरराष्ट्रीय मंच पर नई शुरुआत
यह रैंकिंग सिर्फ अतीत की उपलब्धियों का प्रतिबिंब नहीं है, बल्कि भविष्य की संभावनाओं की शुरुआत है। इस मान्यता से PAU को वैश्विक मंच पर अधिक अवसर मिलेंगे, जिससे वह नई रिसर्च परियोजनाओं, छात्र विनिमय कार्यक्रमों और तकनीकी नवाचारों में योगदान कर सकेगा।
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निष्कर्ष
Punjab Agricultural University की यह उपलब्धि भारत के हर छात्र, शिक्षक और किसान के लिए प्रेरणादायक है। जब एक राज्य स्तरीय यूनिवर्सिटी वैश्विक मंच पर देश का प्रतिनिधित्व कर सकती है, तो यह दिखाता है कि सही दृष्टिकोण और सतत प्रयासों से कुछ भी असंभव नहीं।

“विश्व रैंकिंग में पंजाब एग्रीकल्चरल यूनिवर्सिटी ने रच दिया इतिहास!”
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